आईआईटी जी व नीट में अच्छी रैंक लेकर आना बहुत ही मुश्किल होता है अगर इन एग्जाम्स की 11वीं क्लास से तैयारी शुरू कर दें तो सिलेक्शन के साथ-साथ बेहतरीन रैंक लाई जा सकती है
आईआईटी जी व नीट में अच्छी रैंक लेकर आना बहुत ही मुश्किल होता है अगर इन एग्जाम्स की 11वीं क्लास से तैयारी शुरू कर दें तो सिलेक्शन के साथ-साथ बेहतरीन रैंक लाई जा सकती है
एक समय था जब स्टूडेंट्स अपने अध्ययन से स्कूल में अच्छे अंक प्राप्त कर लेने में सक्षम थे लेकिन आज के बढ़ते कंपटीशन के माहौल में कोचिंग संस्थानों का सहारा लेना अनिवार्य माना जाने लगा है। आईआईटी जी व नीट प्रवेश परीक्षाओं में सफलता प्राप्त करने के लिए 11वीं कक्षा से कोचिंग महत्वपूर्ण मानी जा रही है। इन परीक्षाओं के लिए कक्षा दसवीं के बाद स्टूडेंट्स के पास खुद को सिद्ध करने के लिए दो वर्ष होते हैं और यदि इस समय में श्रेष्ठ कोचिंग मिलती है तो बेहतर जीवन की दिशा तय हो जाती है। मोशन अकैडमी के डायरेक्टर डॉक्टर अरुण शर्मा ने बताया कि संस्था का मैनेजमेंट वह टीचिंग मेथाडोलॉजी सबसे अलग है। मोशन अकैडमी के फैकल्टी हमेशा नए आइडिया और कोचिंग में नए पैटर्न के अनुसार रिसर्च शब्द डेवलपमेंट पर फोकस करते हैं। स्टूडेंट्स को प्रवेश परीक्षा के स्तर से रेगुलर पढ़ना और निरंतर कैरियर देते रहना मोशन अकैडमी मिस्टर की विशेषता है। प्रत्येक स्टूडेंट पर पर्सनल अटेंशन देना मोशन अकैडमी की विशेष खूबी है। इस संकल्प के साथ मोशन अकैडमी के फैकल्टी टीम व मैनेजमेंट स्टूडेंट्स को आईआईटी वह मेडिकल कॉलेज का रास्ता दिखाते हुए सुनहरे भविष्य तक पहुंचाते हैं।
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